हिमदर्शन समाचार
कलियुग में शनि को सबसे ज्यादा प्रभावी ग्रह माना जाता है। शनि देव के प्रकोप से मनुष्य ही नहीं बल्कि देवत तक घबराते हैं। शनि की बुरी नजर जिस पर पड़ जाए उसको जीवन में तमाम परेशानियों को झेलना पड़ता है। शनि के प्रकोप से स्वयं भगवान शंकर नहीं बच सके थे। ऐसे में हर किसी को लिए शनि देव को प्रसन्न रखना अत्यंत आवश्यक माना गया है। शनि देव नाराज होते हैं तो व्यक्ति को हर तरह का कष्ट प्रदान करते हैं।
यही कारण है कि शनि सबसे क्रूर ग्रह माना जाता है। ज्योतिष के मुताबिक शनि यदि अशुभ हो तो इस प्रकोप से बचने के लिए व्यक्ति को जल्द ही कोई ना कोई उपाए करना चाहिए। शनि देव जिस भी व्यक्ति से नाराज होते हैं, इसकी सेहत, धन, मान-सम्मान, कारोबार सब कुछ बर्बाद कर देते हैं। शनि के प्रकोप को झेलने वाले इंसान को हर जगह असफलता ही हाथ लगती है। ऐसे में 2021 में कुछ खास दिन ऐसे आते हैं जब शनि के उपाय करने से कई गुना ज्यादा लाभ होता है।
25 दिसंबर को बन रहा विशेष योग
आपको बता दें कि शनि देव को प्रसन्न करने के लिए 2021 के जाते-जाते एक खास मौका हर किसी को मिल रहा है। ऐसे में आज 25 दिसंबर 2021 को एक ऐसा विशेष संयोग बन रहा है, जिससे आप शनि के प्रकोप से राहत पा सकते हैं। 25 दिसंबर को दिन शनिवार को ये योग बनेगा, इसके साथ ही इस दिन पौष महीने के कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि भी होने वाली है। इस दिन चंद्रमा सिंह राशि में रहेगा। ये सुबह 11:23 मिनट तक प्रीति योग बन रहा है। इस दिन आयुष्मान योग भी बन रहा है। ये शनि देव की पूजा के लिए बेहद शुभ माने गए हैं। अगर इस दिन पूरी श्रद्धा और निष्ठा के साथ शनिदेव की पूजा की जाए तो फल की प्राप्ति होती है।
ये है शनि देव को प्रसन्न करने का तरीका
अगर आपके जीवन में शनि की दशा खराब है, तो शनि को शांत करने के लिए 25 दिसंबर, शनिवार को आसान उपाय करना उनकी बुरी नजर से निजात दिलाएगा। आप शनिवार को शनि मंदिर में जाकर प्रभु की खास रूप से पूजा करें। ध्यान रखें कि इस दौरान गलती से भी शनि देव की मूर्ति के सामने आप ना खडें हो, मूर्ति से थोड़ा दाएं या बाएं होकर ही खड़े हों। इसके अलावा शनि देव को सरसों को तेल चढ़ाएं और शनि मंत्र और शनि चालीसा का पाठ करें। शनि से संबंधित चीजों का गरीबों का दान भी करें।
नोट- यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं, इसका कोई भी वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है। इसे सामान्य जनरुचि को ध्यान में रखकर यहां प्रस्तुत किया गया है।